lad fadeya tera shyama hun chadiya nhi janda tere dhar ute aggi aa hun piche hatiya nhi janda
लड़ फड के तेरा श्यामा हुन छदिया नही जांदा॥
तेरे दर उत्ते आगी आ पीछे हटिया नही जांदा॥
तस्वीर तेरी मोहना मेरे दिल विच बस गई है,
असी दस भी नही सकदे रोम रोम विच धस गई है,
जडो तारा धरक दिया ने फिर॥ रुकिया नही जंदा
लड़ फड के तेरा श्यामा ................
एहे प्रेम का सोह्दा है सिर धर दी वाजी है,
कोई समजे ना समजे मेरा यार ते राजी है,
आसा दिल च वासा लिया॥ हुन कड़िया नही जांदा,
लड़ फड के तेरा श्यामा ................
एहे जाम महोबत दा इक वार जो पी लेनदा,
भूल जनदे ने गम सारे तेरी मस्ती च जी लेनदा ,
एहे मस्ती उतर दी नही॥ नशा चढ़ के उतर जांदा,
लड़ फड के तेरा श्यामा ................